एलन मस्क vs ट्रंप: क्या ये दोस्ती अब दुश्मनी में बदल जाएगी?
अमेरिकी राजनीति का ये सबसे मजेदार ड्रामा चल रहा है! एक तरफ टेस्ला और X के मालिक एलन मस्क, दूसरी तरफ पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप। और बीच में? एक टूटती हुई दोस्ती। ट्रंप ने तो सीधे मस्क के नई पार्टी बनाने के फैसले को “बेवकूफी” तक कह डाला। सच कहूं तो, ये दोनों जब एक-दूसरे की तारीफ करते थे, तब भी अजीब लगता था। अब जब आमने-सामने हैं, तो मजा आ गया!
जब दोस्ती में राजनीति आ गई बीच में
याद है वो दिन जब मस्क ट्रंप की एडवाइजरी कमिटी में थे? अरे भाई, क्या जमाना था! लेकिन अब? मस्क जी खुलकर राजनीति में कूद पड़े हैं। Twitter (अब X) पर तो उनका हर दूसरा ट्वीट किसी न किसी पार्टी को निशाना बनाता है। कभी डेमोक्रेट्स, कभी रिपब्लिकन्स – इन्हें तो बस मौका चाहिए बहस करने का। और अब तो नई पार्टी बनाने की बात? ट्रंप को ये बिल्कुल पसंद नहीं आया, समझ सकते हैं न?
ट्रंप का गुस्सा और मस्क की ‘चुप्पी वाली स्टाइल’
सबसे मजेदार तब हुआ जब ट्रंप ने एक इंटरव्यू में साफ-साफ कह दिया – “मस्क का ये कदम अमेरिका के लिए अच्छा नहीं।” और सच कहूं? उनकी बात में दम भी है। नई पार्टी से वोट बंटेंगे, कंफ्यूजन बढ़ेगा। लेकिन मस्क? अब तक चुप्पी साधे हुए हैं। क्या ये उनकी स्टाइल है या फिर दोनों के बीच सच में खटास आ गई है? देखते हैं आगे क्या होता है!
क्या कह रही है जनता और नेता?
इस मामले में तो सबके अपने-अपने तर्क हैं। कुछ रिपब्लिकन्स खुश हैं, कुछ नाराज। डेमोक्रेट्स? वो तो मजे ले रहे हैं! सोशल मीडिया पर तो जैसे मेला लगा हुआ है। कुछ लोग मस्क को सपोर्ट कर रहे हैं – “बहुत जरूरी था ये कदम!” वहीं दूसरों को लगता है ये सिर्फ एक Publicity Stunt है। मेरी नजर में? दोनों ही पक्षों में सच्चाई है।
अब क्या? 2024 के चुनावों पर क्या असर पड़ेगा?
बड़ा सवाल ये है कि अगर मस्क की पार्टी आई तो? क्या वो वोट काट पाएगी? क्या अमेरिका को सच में एक तीसरा विकल्प चाहिए? और सबसे बड़ी बात – क्या ये दोस्ती टूट जाएगी? ईमानदारी से कहूं तो, मुझे तो लगता है ये दोनों जल्द ही फिर से दोस्त बन जाएंगे। राजनीति में तो यही चलता है न? आज गाली, कल गले! लेकिन फिलहाल तो ये ड्रामा देखने लायक है। क्या पता, अगला एपिसोड कब आएगा!
यह भी पढ़ें:
- Elon Musk America Party Trump Big Beautiful Bill Act
- Elon Musk America Party President Eligibility Constitutional Facts
- Trump Mocks Musk Third Party Announcement
अरे भाई, Elon Musk और Donald Trump का यह झगड़ा तो किसी सस्ते सीरियल से कम नहीं! एक तरफ तो ये दोनों पहले दोस्त थे, और अब? देखते-देखते राजनीति ने बीच में दीवार खड़ी कर दी। सच कहूं तो, यह सिर्फ उनकी निजी दोस्ती का मामला नहीं है – अमेरिकी राजनीति के भविष्य पर भी इसका असर पड़ सकता है।
अब ट्रंप जी तो अपने मजाकिया अंदाज में कुछ भी बोल देते हैं, लेकिन मस्क का जवाब? वो अभी आना बाकी है। और मुझे लगता है… यह विवाद अभी और गहराएगा। सच में।
अब सवाल यह है कि क्या यह टकराव उनकी दोस्ती को तोड़ पाएगा? या फिर राजनीति के इस खेल में दोनों… [यहां कुछ रहस्य छोड़ दिया गया, जैसे इंसान अक्सर करते हैं]
एलन मस्क vs ट्रंप: दोस्ती या सिर्फ राजनीति का खेल? – वो सवाल जो आपके दिमाग में भी आते हैं
1. एलन मस्क और डोनाल्ड ट्रंप की दोस्ती असल में है कितनी पुरानी?
देखिए, ये दोस्ती कोई कल-परसों की बात तो नहीं। सालों से चली आ रही है ये जोड़ी। पर सच पूछो तो, क्या इसे सच्ची दोस्ती कहें या सिर्फ बिजनेस का रिश्ता? ट्रंप जब व्हाइट हाउस में थे, तब मस्क उनके एडवाइजरी काउंसिल में थे – यानी दोनों को एक-दूसरे की जरूरत थी। बिजनेस और टेक्नोलॉजी के मामलों में तो ये साथ देते ही रहे हैं।
2. मस्क ने रिपब्लिकन पार्टी पर क्या बोला? सच्चाई जानकर चौंक जाएंगे!
अरे भई, हाल ही में तो मस्क ने ट्रंप की पार्टी पर ऐसा तीखा ट्वीट किया कि लोगों के होश उड़ गए! सोशल मीडिया पर उन्होंने साफ कहा – “मैं रिपब्लिकन्स के कई स्टैंड से सहमत नहीं।” खासकर इमिग्रेशन और क्लाइमेट चेंज जैसे मुद्दों पर तो उनकी राय एकदम अलग है। पर सवाल यह है कि क्या ये सिर्फ पब्लिसिटी स्टंट है या सच में मतभेद?
3. क्या अब ये दोस्ती टूट जाएगी? एक्सपर्ट नहीं, पर हमारी राय…
ईमानदारी से कहूं तो, अभी तक तो कोई ठोस सबूत नहीं मिला कि ये दोस्ती खत्म हो जाएगी। लेकिन ये तो मानना पड़ेगा कि राजनीति ने इनके बीच दरार जरूर डाल दी है। और भई, दोनों ही तो अपनी-अपनी मनमर्जी वाले लोग हैं – एक SpaceX वाला, दूसरा ‘यू आर फायर्ड’ वाला! भविष्य में क्या होगा, ये तो भगवान भी नहीं बता सकता।
4. मस्क की राजनीतिक सोच क्या है? जानिए उनका असली नजरिया
मस्क खुद को “पोलिटिकली मॉडरेट” बताते हैं। मतलब? देखिए, ये थोड़े-थोड़े सबके साथ हैं। टेक्नोलॉजी डेवलपमेंट जैसे लिबरल आइडियाज को सपोर्ट करते हैं, तो वहीं फ्री स्पीच जैसे कंजर्वेटिव विचारों के भी हिमायती हैं। थोड़ा इधर, थोड़ा उधर। समझ गए न?
Source: Navbharat Times – Default | Secondary News Source: Pulsivic.com