“ये अंदर की बात है…” – फड़णवीस के ‘जुड़ने’ के ऑफर पर उद्धव ठाकरे का रहस्यमय जवाब!

“ये अंदर की बात है…” – फड़णवीस के ‘जुड़ने’ के ऑफर पर उद्धव ठाकरे का वो जवाब जिसने सबको हैरान कर दिया!

अरे भई, महाराष्ट्र की राजनीति तो हमेशा से मसालेदार रही है, लेकिन अभी जो हालात बन रहे हैं, उन पर तो सीरियल बन सकता है! शिवसेना प्रमुख उद्धव ठाकरे ने CM देवेंद्र फड़णवीस के ‘जुड़ने’ के इशारे पर जो रहस्यमयी जवाब दिया है, वो तो पूरे राजनीतिक गलियारों में बम की तरह गिरा है। सच बताऊँ? न्यूज18 को इंटरव्यू में जब सीधे पूछा गया कि “अगर BJP आपको ज्वाइन करने का ऑफर देगी, तो क्या करेंगे?” तो उनका जवाब था – “ये अंदर की बात है…”। बस इतना सा जवाब, लेकिन इसके मायने? अरे भाई, ये तो पूरे खेल को ही बदल सकता है!

पुरानी दुश्मनी, नया खेल

देखिए ना, 2019 का वो विधानसभा चुनाव याद है ना? BJP और शिवसेना का पुराना रिश्ता, लेकिन सत्ता बँटवारे को लेकर झगड़ा हुआ और बात बिगड़ गई। नतीजा? शिवसेना ने NCP-कांग्रेस के साथ हाथ मिला लिया। अब फड़णवीस का ये ‘जुड़ने’ वाला बयान… सच कहूँ तो मुझे लगता है ये कोई संयोग नहीं है। और हाँ, विधानसभा में हुई मारपीट तो पूरे मामले को और गरमा देने वाली बात हो गई। उद्धव ने तो इसे “लोकतंत्र के लिए शर्म की बात” तक कह डाला। अब समझिए इस पूरे खेल को!

एक वाक्य, हज़ार मतलब

“ये अंदर की बात है…” – सुनने में तो बहुत साधारण सा वाक्य लगता है ना? लेकिन राजनीति में ऐसे वाक्यों के पीछे क्या-क्या छुपा होता है, ये तो हम सब जानते हैं। और फिर उनका ये कहना कि “राजनीति में कुछ भी फाइनल नहीं होता”… अरे भई, ये तो साफ-साफ इशारा है कि कुछ तो चल रहा है! राजनीतिक एक्सपर्ट्स क्या कहते हैं? वो तो मान रहे हैं कि ये कोई आकस्मिक बयान नहीं, बल्कि पूरी प्लानिंग के साथ दिया गया स्टेटमेंट है। और सच भी तो है – जब एक तरफ विपक्ष एकजुट हो रहा है, तो सरकार वालों को भी तो कुछ करना होगा ना?

हर पार्टी की अलग राय

इस बयान ने तो सबको हिला कर रख दिया! BJP के कुछ नेताओं का कहना है कि ये “दबाव का संकेत” है, वहीं शिवसेना वाले दावा कर रहे हैं कि उद्धव कभी BJP के साथ नहीं जाएँगे। पर सच्चाई? वो तो वक्त ही बताएगा। एक्सपर्ट्स की नज़र में ये महाराष्ट्र राजनीति के नए चैप्टर की शुरुआत हो सकती है। कोई कह रहा है ये चुनावी रणनीति है, तो कोई मान रहा है कि सत्ता में वापसी की तैयारी चल रही है। मेरी नज़र में? दोनों ही बातें सही हो सकती हैं!

अब आगे क्या?

तो अब सवाल ये है कि आगे क्या होगा? क्या BJP और शिवसेना के बीच कोई गुप्त मीटिंग्स हो रही हैं? अगर ऐसा होता है, तो महाराष्ट्र की सियासत फिर से पलट सकती है। और विधानसभा हिंसा के बाद तो विपक्ष पूरी तरह एक्टिव मोड में आ गया है। उद्धव का ये बयान सिर्फ आज की नहीं, बल्कि आने वाले कल की राजनीति को भी प्रभावित कर सकता है। एक बात तो तय है – अगले कुछ दिनों में कुछ बड़ा होने वाला है। और जल्द ही ये “अंदर की बात” बाहर आने वाली है। तब तक के लिए… वेट एंड वॉच!

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“ये अंदर की बात है…” – फड़णवीस और उद्धव ठाकरे के बीच का सियासी सस्पेंस!

1. फड़णवीस ने उद्धव को दिया क्या ‘गुप्त समझौता’ ऑफर?

देखिए, ये राजनीति है – यहाँ हर चीज़ पब्लिक में नहीं आती। फड़णवीस ने उद्धव को NDA में वापसी का ऑफर दिया, ये तो साफ है। लेकिन असल सवाल ये है कि इसके पीछे क्या ‘चॉकलेट’ थी? क्योंकि बिना मिठाई के तो राजनीति में कोई दरवाज़ा नहीं खुलता, है न? हालाँकि, उद्धव ने अभी तक कोई सीधा जवाब नहीं दिया – और यही इस पूरे ड्रामा को और दिलचस्प बना रहा है।

2. उद्धव का “अंदर की बात…” वाला जुमला – सियासी चाल या सच्चाई?

अरे भई, ये तो वैसा ही है जैसे कोई बॉलीवुड स्टार कहे “नो कमेंट”! मतलब साफ है – कुछ तो चल रहा है। शायद BJP और शिवसेना (UBT) के बीच कोई बैकडोर डील, या फिर सिर्फ एक दूसरे को टेंशन देने की टैक्टिक्स? पर सच क्या है? वो तो… अंदर की बात है! *विंक*

3. क्या उद्धव सच में इस ऑफर पर विचार कर रहे हैं?

सुनिए, राजनीति में कुछ भी पक्का नहीं होता। आज ना कहें, कल हाँ बोल दें। उद्धव का ये रहस्यमय अंदाज़ दो चीज़ें बता रहा है – या तो वो अपने ऑप्शन्स खुले रखना चाहते हैं, या फिर BJP को थोड़ा घुमा रहे हैं। एक तरफ तो ये स्ट्रैटजी अच्छी लगती है, पर दूसरी तरफ… अगर ज्यादा देर तक ‘मायावी’ बने रहे, तो पब्लिक का भरोसा भी जा सकता है। Tricky है ये गेम!

4. अगर NDA में शामिल हुए उद्धव, तो क्या होगा महाराष्ट्र की सियासत में?

बिल्कुल भूचाल आ जाएगा! MVA तो जैसे टूटेगा ही, साथ ही शिवसेना के भीतर भी बड़े फेरबदल होंगे। पर सबसे मजेदार बात ये होगी – जो लोग कल तक एक-दूसरे को गालियाँ दे रहे थे, वोी अचानक ‘भाई-भाई’ हो जाएँगे। राजनीति का ये खेल… क्या कहें! एकदम सीरियल जैसा। सच में।

Source: News18 Hindi – Nation | Secondary News Source: Pulsivic.com

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