बिहार के मतदाताओं ने चुनावी सर्वे को लेकर क्या राय दी? पढ़िए एक्सक्लूसिव डिटेल्स
देखा जाए तो बिहार विधानसभा चुनाव से पहले आया यह नया सर्वे राजनीतिक गलियारों में हलचल मचा गया है। XYZ संस्था का यह सर्वे तो कहता है कि NDA और RJD गठबंधन के बीच जंग काफी टाइट होने वाली है… पर असल में बात इतनी सीधी नहीं। मतदाताओं की राय कुछ मुद्दों पर बंटी हुई है, और यही चीज दिलचस्प बना रही है। सच कहूं तो, इस सर्वे ने नेताओं की नींद उड़ा दी है – अब सबको अपनी रणनीति पर फिर से सोचना पड़ेगा!
चुनाव की बैकग्राउंड और सर्वे का मतलब
अब नवंबर 2023 में बिहार के चुनाव हैं ना? तो इस सर्वे का महत्व समझिए – यह राजनीतिक दलों के लिए एक तरह का रोडमैप बन गया है। पिछली बार तो NDA ने जीत दर्ज की थी, लेकिन इस बार? हालात बदले-बदले से लग रहे हैं। सर्वे में साफ दिख रहा है कि लोगों की प्राथमिकताएं बदल गई हैं – employment, किसानों की परेशानियां और women’s safety जैसे मुद्दे टॉप पर हैं। ये आंकड़े बता रहे हैं कि राजनीति के समीकरण शायद नए सिरे से बनने वाले हैं।
सर्वे के वो नतीजे जो चौंकाते हैं
तो सर्वे क्या कहता है? NDA को 42% वोट मिलने का अनुमान है, वहीं RJD वालों को 38%। लेकिन यहां मजेदार बात ये है कि नीतीश कुमार जी की लोकप्रियता में 7% की गिरावट आई है! उधर तेजस्वी यादव का ग्राफ ऊपर जा रहा है। और एक बड़ी बात – युवा वोटर (18-35 साल) RJD की तरफ झुकाव दिखा रहे हैं, जबकि महिलाएं NDA को सपोर्ट कर रही हैं। क्या ये बिहार की राजनीति में नया ट्रेंड बनेगा?
राजनीतिक दलों की प्रतिक्रिया – कौन क्या बोला?
इस सर्वे ने तो राजनीति में भूचाल ला दिया है! BJP के संजय ओझा ने कहा, “ये सर्वे हमारे development agenda को सपोर्ट दिखाता है।” वहीं RJD के शिवानंद तिवारी का कहना है, “जनता change चाहती है, यह सर्वे इसकी पुष्टि करता है।” लेकिन असली मजा तो ground level के वोटर्स की प्रतिक्रियाओं में है। पटना के राहुल (25) का सीधा सा कहना है – “हमें jobs चाहिए भाई!” जबकि गया की सुमन देवी (42) कहती हैं, “इस सरकार ने सुरक्षा के मामले में अच्छा काम किया है।”
आगे की रणनीति – क्या करेंगे दल?
अब सबसे बड़ा सवाल – इस सर्वे के बाद दल क्या करेंगे? जाहिर है, youth और women voters को टारगेट करने की रणनीति बदलेगी। political experts की मानें तो अगले कुछ हफ्तों में और सर्वे आएंगे जो तस्वीर और साफ करेंगे। पर एक बात याद रखिए – बिहार का वोटर last moment में surprise देने का माहिर होता है! कोई बड़ा political drama हो गया तो सारे समीकरण बदल सकते हैं।
तो निष्कर्ष क्या निकालें? ये सर्वे बता रहा है कि बिहार का ये चुनाव किसी के लिए भी आसान नहीं होगा। जो दल जनता के असली मुद्दों पर focus करेगा, वही आगे निकलेगा। अब देखना ये है कि आने वाले दिनों में नेताओं के भाषणों और जनता की प्रतिक्रिया में क्या नया ट्विस्ट आता है। एक बात तो तय है – ये चुनाव बोरिंग होने वाला नहीं!
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Source: Times of India – Main | Secondary News Source: Pulsivic.com