बड़ी छलांग! MRF का ये शेयर सिर्फ 4 महीने में ₹50K का सफर तय कर गया
अरे भाई, भारतीय शेयर बाजार में इन दिनों MRF के शेयरों ने जोरदार धमाल मचा रखा है! सच बताऊं तो मार्च में जब ये ₹1 लाख 2 हज़ार के आसपास था, तब किसने सोचा था कि जुलाई तक ये ₹1.52 लाख को छू लेगा? मतलब साफ है – महज चार महीने में लगभग ₹50,000 का उछाल! ये कोई मामूली बात नहीं है। सच कहूं तो ये आंकड़ा देखकर तो बड़े-बड़े मार्केट एक्सपर्ट्स के भी होश उड़ गए हैं।
अब सवाल यह है कि MRF है कौन? देखिए, ये भारत की टॉप टायर कंपनियों में से एक है – बिल्कुल बड़े दर्जे की (large-cap वाली)। पिछले कुछ सालों में इसने अपने मजबूत फाइनेंशियल्स और ब्रांड पावर की वजह से निवेशकों का भरोसा जीता है। हालांकि, ये तो पहले से ही प्रीमियम शेयर माना जाता था, लेकिन इतनी तेजी? असल में, इसने तो अब तक के सारे अनुमानों को पीछे छोड़ दिया है।
अगर गौर से देखें तो मार्च से जुलाई तक ये शेयर हर महीने ग्रीन में बंद हुआ है। जुलाई में अभी तक 7% का उछाल! और विश्लेषकों का कहना है कि ये ट्रेंड और आगे भी जारी रह सकता है। पर क्यों? असल में तीन मुख्य कारण हैं – कंपनी के बेहतरीन क्वार्टरली रिजल्ट्स, टायर सेक्टर में बढ़ती डिमांड, और निवेशकों का बढ़ता क्रेज।
लेकिन यहां एक दिलचस्प बात – एक्सपर्ट्स की राय बंटी हुई है। कुछ का कहना है कि ये शेयर अभी भी ओवरप्राइस्ड है, जबकि दूसरों को लगता है कि ग्रोथ स्टोरी अभी खत्म नहीं हुई। छोटे निवेशकों के लिए तो ये शेयर अभी भी सपना ही है (क्योंकि ₹1.5 लाख प्रति शेयर, भई!), लेकिन बड़े फंड्स और HNIs इसमें लगातार पैसा लगा रहे हैं।
भविष्य की बात करें तो… अगर ये ट्रेंड ऐसे ही चलता रहा, तो जल्द ही MRF भारत का सबसे महंगा शेयर बन सकता है। पर एक चेतावनी भी – लॉन्ग टर्म में इकोनॉमिक स्लोडाउन, रॉ मटीरियल की कीमतों में उतार-चढ़ाव और कंपटीशन का खतरा तो रहता ही है। सलाह? बिना रिसर्च किए इसमें हाथ न डालें!
तो देखा आपने – MRF का ये सफर एक तरफ तो कमाल का अवसर दिखता है, लेकिन दूसरी तरफ रिस्क भी कम नहीं है। शेयर बाजार का ये नियम हमेशा याद रखिए – जहां बड़े मौके होते हैं, वहां बड़े जोखिम भी होते हैं। है न?
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1. यह कौन सा लार्ज-कैप स्टॉक है जिसने ₹50,000 का जादू दिखाया?
दोस्तों, अगर आप भी उन लोगों में से हैं जो इस स्टॉक [स्टॉक का नाम] के बारे में सुनकर हैरान हैं, तो आप अकेले नहीं हैं। सच कहूं तो मुझे भी पहले यकीन नहीं हुआ था जब इसने महज 4 महीनों में ₹50,000 का सफर तय किया! यह [इंडस्ट्री सेक्टर] सेक्टर का खिलाड़ी है, और इसकी फंडामेंटल्स… वाह! बस इतना कहूंगा कि यह कोई लकी स्ट्रोक नहीं, बल्कि असली दम है।
2. यह स्टॉक इतनी तेजी से कैसे उछला? जानिए असली वजह
अब सवाल यह है कि आखिर इसका राज़ क्या है? देखिए, एक तरफ तो कंपनी का फाइनेंशियल परफॉरमेंस बेहतरीन है – जैसे कि अच्छा खासा मुनाफा, नए प्रोडक्ट्स की लाइनअप। लेकिन असल में बात यह है कि पूरा सेक्टर ही बुलिश मूड में है। और जब मार्केट का ज्वार आता है, तो सभी नावें ऊपर उठती हैं – पर यह नाव रॉकेट की तरह उड़ी है!
3. क्या अभी भी इसमें पैसा लगाना समझदारी होगी?
ईमानदारी से? यह वही सवाल है जो मैं खुद से पूछ रहा हूं। हां, पिछला परफॉरमेंस शानदार रहा है, लेकिन याद रखिए – स्टॉक मार्केट रेसकोर्स नहीं है। मेरी सलाह? पहले खुद से पूछें: क्या यह मेरे रिस्क एपेटाइट के अनुकूल है? क्या मैं short-term गेम खेल रहा हूं या long-term? और हां, किसी अच्छे फाइनेंशियल एडवाइजर से बात जरूर करें।
4. क्या ऐसे स्टॉक्स में ज्यादा खतरा होता है?
सीधा जवाब – हां। बिल्कुल हां। जिस तरह से यह स्टॉक ऊपर गया है, उसी तरह नीचे भी आ सकता है। यह उसी तरह है जैसे कोई फास्ट बाइक – स्पीड तो बहुत देती है, पर संभलकर चलानी पड़ती है। अगर आपका दिल कमजोर है या नींद अच्छी चाहिए, तो शायद यह आपके लिए नहीं है। सच कहूं तो मार्केट में कोई फ्री लंच नहीं होता!
एक छोटी सी बात और – यह कोई फाइनेंशियल एडवाइस नहीं है, बस दोस्ताना चर्चा है। अपनी रिसर्च जरूर करें!
Source: Livemint – Markets | Secondary News Source: Pulsivic.com