ऑस्ट्रेलिया का सोशल मीडिया बैन: YouTube को मिली खास छूट पर क्यों हो रहा है बवाल?
चलिए शुरू करते हैं
अभी-अभी ऑस्ट्रेलिया सरकार ने एक बड़ा फैसला लिया है – 16 साल से छोटे बच्चों के लिए सोशल मीडिया पर पाबंदी! Facebook, Instagram और TikTok जैसे प्लेटफॉर्म तो इसकी जद में आ गए, लेकिन हैरानी की बात ये कि YouTube को छूट मिल गई। ये फैसला कितना सही है? आइए पूरी कहानी समझते हैं।
बैन की पूरी कहानी
आखिर क्यों उठाया ये कदम?
ऑस्ट्रेलिया सरकार को लगता है कि सोशल मीडिया बच्चों की मेंटल हेल्थ के लिए ठीक नहीं है। Experts की मानें तो online bullying, screen addiction और दूसरे खतरों से बचाने के लिए ये कदम उठाया गया है। Parents और Teachers की राय भी इसमें शामिल की गई है।
किन-किन ऐप्स पर लगेगा बैन?
लिस्ट में Facebook, Instagram, Snapchat और TikTok जैसे बड़े नाम शामिल हैं। मगर यहां मजे की बात ये कि YouTube को पहले ही बाहर कर दिया गया। यही वजह है कि अब ये मामला गरमा गया है।
YouTube को मिली छूट पर सवाल
पढ़ाई-लिखाई का बहाना?
Google का कहना है कि YouTube पर Educational Content की भरमार है जिसका फायदा Students और Teachers उठाते हैं। इसी वजह से उन्हें छूट मिली। पर सच ये भी है कि YouTube पर भी ऐसा बहुत कुछ है जो बच्चों के लिए सही नहीं।
क्या ये न्यायसंगत है?
Critics सही सवाल उठा रहे हैं – क्या सच में YouTube दूसरों से अलग है? कई Experts का मानना है कि सभी प्लेटफॉर्म्स के लिए एक जैसे नियम होने चाहिए। वरना ये भेदभाव वाली बात हो जाती है।
इसके क्या मायने हो सकते हैं?
आम लोगों पर असर
सीधा असर तो बच्चों और टीनएजर्स पर पड़ेगा। Parents के लिए नई मुश्किलें आएंगी। Teachers को भी Educational Resources तक पहुंच बनाए रखनी होगी।
टेक कंपनियों के लिए चुनौती
Google को अब YouTube के लिए नए Age Verification Tools लाने होंगे। दूसरी कंपनियों को भी अपनी Policies में बदलाव करने पड़ सकते हैं। ये टेक दुनिया में नए Regulations की शुरुआत हो सकती है।
दुनिया क्या कह रही है?
ऑस्ट्रेलिया का ये फैसला पूरी दुनिया में चर्चा का विषय बन गया है। यूरोप और अमेरिका जैसे देश भी ऐसे कदमों पर सोच रहे हैं। कई जगहों पर तो Children’s Online Safety को लेकर पहले से ही सख्त कानून हैं।
तो क्या सीखा हमने?
ऑस्ट्रेलिया का ये कदम भविष्य के लिए एक उदाहरण बन सकता है। पर YouTube को छूट देने का फैसला अभी भी बहस का मुद्दा है। Parents और Teachers को चाहिए कि बच्चों की ऑनलाइन एक्टिविटीज पर नजर रखें और उन्हें सुरक्षित इंटरनेट यूज के बारे में बताएं।
आपके सवाल, हमारे जवाब
1. YouTube पर बैन क्यों नहीं लगाया गया?
क्योंकि Google ने सरकार को समझाया कि यहां Educational Content ज्यादा है जो Students और Teachers के काम आता है।
2. क्या ये बैन सभी पर लागू होगा?
नहीं भई, सिर्फ 16 साल से कम उम्र के बच्चों के लिए है। बड़े लोग तो चैन की नींद सो सकते हैं!
3. दूसरे देशों में ऐसा होता है?
चीन तो कई प्लेटफॉर्म्स पर पहले से बैन लगाए बैठा है। यूरोप में भी Children’s Data Protection को लेकर कड़े नियम हैं।
4. बच्चों को ऑनलाइन सेफ कैसे रखें?
Parental Control Apps इस्तेमाल करें, बच्चों से खुलकर बात करें और उनकी Screen Time पर लगाम लगाएं। समझदारी की बात है!
Source: Financial Times – Companies | Secondary News Source: Pulsivic.com